११४ .
गर जो आकर
एक बार मिल जाओ
दिल का गम
दूर हो जाएगा
तुम तो खुश हो ही
दूर रहकर
मैं भी शायद
खुश हो जाऊँगा
पर हाँ
संदेह तो है ही मुझे
मुझसे मिलने से पहले
ना जाने बार - बार
तुम सोंचने क्या लगती हो
कारण जिसके
एक बार मिलन का समय
बार - बार टल जाता है
तेरी बड़ी समझदारी को
भला मैं क्या समझा पाऊंगा
पर अपनी समझ
जिन्दगी में
एक बार ही सही
ऐसा तो बना लो
आखरी एक मुलाकात हो जाए
दिल की धड़कन बंद हो जाए !
सुधीर कुमार ' सवेरा ' १६-०१-१९८४
चित्र गूगल के सौजन्य से
गर जो आकर
एक बार मिल जाओ
दिल का गम
दूर हो जाएगा
तुम तो खुश हो ही
दूर रहकर
मैं भी शायद
खुश हो जाऊँगा
पर हाँ
संदेह तो है ही मुझे
मुझसे मिलने से पहले
ना जाने बार - बार
तुम सोंचने क्या लगती हो
कारण जिसके
एक बार मिलन का समय
बार - बार टल जाता है
तेरी बड़ी समझदारी को
भला मैं क्या समझा पाऊंगा
पर अपनी समझ
जिन्दगी में
एक बार ही सही
ऐसा तो बना लो
आखरी एक मुलाकात हो जाए
दिल की धड़कन बंद हो जाए !
सुधीर कुमार ' सवेरा ' १६-०१-१९८४
चित्र गूगल के सौजन्य से
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